शनिवार, 12 जून 2010

अहिंसा का पुजारी

गांधी जी हमेशा अपने साथ लाठी रखा करते थे । एक बार जवाहर लाल नेहरू अपने पिता मोतीलाल नेहरू के साथ गांधी जी से मिलने गए । शाम हो चुकी थी । गांधी जी के कमरे में एक दीया जल रहा था । जैसे ही वे दोनों कमरे में घुसे, दीया बुझ गया । नेहरू दरवाजे के पास पड़ी लाठी से टकरा गए। नेहरू ने पूछा, ''बापू आप तो अंहिसा के पुजारी हैं । फिर आप यह लाठी अपने साथ क्यों रखते हैं?'' ''तुम्हारे जैसे उद्दंड लड़कों को सीधा करने के लिए |'' गांधी जी ने जवाब दिया ।